कक्षा 08वी विज्ञान अध्याय 14 प्रकाश का अपवर्तन का संपूर्ण महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तर CLASS 10Th Science Refraction of light All Questions and Answer in Hindi - ULTIMATE STUDY SUPPORT

कक्षा 08वी विज्ञान अध्याय 14 प्रकाश का अपवर्तन का संपूर्ण महत्वपूर्ण प्रश्नोत्तर CLASS 10Th Science Refraction of light All Questions and Answer in Hindi - ULTIMATE STUDY SUPPORT

प्रश्न 1.
जब प्रकाश एक पारदर्शी माध्यम से दूसरे पारदर्शी माध्यम में प्रवेश करता है तो क्या होता है?
उत्तर:
जब प्रकाश एक पारदर्शी माध्यम से दूसरे पारदर्शी माध्यम में प्रवेश करता है तो अपने पथ से विचलित हो जाता है।
प्रश्न 2.
जब कोई काँच की मोटी सिल्ली को किसी पुस्तक के अक्षरों पर रखकर देखते हैं तो अक्षर ऊपर उठे हुए प्रतीत होते हैं। ऐसा क्यों होता है?
उत्तर:
ऐसा प्रकाश के अपवर्तन के कारण होता है।
पाठ्यपुस्तक के प्रश्न
सही विकल्प का चयन कीजिए
प्रश्न 1.
निम्नलिखित में से कौनसी घटना अपवर्तन से सम्बन्धित नहीं है?
(अ) पानी से भरे पात्र का पैंदा ऊपर उठा हुआ दिखाई देना।
(ब) सूर्योदय से पहले व सूर्यास्त के पश्चात् सूर्य का दिखाई देना
(स) दर्पण से प्रतिबिंब निर्माण
(द) तारों का टिमटिमाना
उत्तर:
(स) दर्पण से प्रतिबिंब निर्माण
प्रश्न 2.
निम्नलिखित में से कौनसा भाग मानव नेत्र का नहीं है?
(अ) रेटिना
(ब) कॉर्निया
(स) पुतली
(द) मध्य पटल
उत्तर:
(द) मध्य पटल
प्रश्न 3.
जब प्रकाश की किरण सघन माध्यम से विरल माध्यम में प्रवेश करती है तो यह
(अ) अभिलम्ब से दूर हो जाती है।
(ब) अभिलम्ब की ओर झुक जाती है।
(स) बिना विचलित हुए सीधी निकल जाती है।
(द) उपर्युक्त में से कोई नहीं।
उत्तर:
(अ) अभिलम्ब से दूर हो जाती है।
रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए
प्रश्न 1.
आँख की_____ आँख में प्रवेश करने वाले प्रकाश को नियंत्रित करती है।
उत्तर:
पुतली
प्रश्न 2.
_____ लेंस से सदैव सीधा, आभासी एवं छोटा प्रतिबिम्ब बनता है।
उत्तर:
अवतल
प्रश्न 3.
जब प्रकाश की किरण वायु से पानी में प्रवेश करती है तो अभिलम्ब की______ झुक जाती
उत्तर:
ओर।
कॉलम अ तथा बे को सुमेलित कीजिए
उत्तर:
1. (घ) नेत्रोद
2. (क) काचाभ द्रव
3. (ख) परितारिका
4. (ग) रेटिना।
लघूत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
अपवर्तन किसे कहते हैं? यह किसे कारण होता
उत्तर:
अपवर्तन-जब प्रकाश की किरण एक माध्यम से दूसरे माध्यम में प्रवेश करती है, तो यह अपने पथ से विचलित हो जाती है। इस घटना को प्रकाश का अपवर्तन कहते हैं।
अपवर्तन के कारण–प्रकाश के एक पारदर्शी माध्यम से दूसरे में प्रवेश करने पर प्रकाश की चाल में परिवर्तन के कारण अपवर्तन की घटना घटित होती है।
प्रश्न 2.
उत्तल और अवतल लेंस में प्रमुख अन्तर लिखिए।
उत्तर:
क्र.सं.उत्तल लेंस (Convex Lens)अवतल लेंस (Concave Lens)1यह किनारों पर पतला एवं बीच में मोटा होता है।यह किनारों पर मोय एवं बीच में पतला होता है।2यह लेंस समान्तर आने वाली प्रकाश किरणों को अभिसारित (केन्द्रित) करता हैयह लेंस समान्तर आने वाली प्रकाश किरणों  को अपसारित कर देता हैं।3इसे अभिसारी लेंस भी कहते हैं।इसे अपसारी लेंस कहते हैं।4इससे आभासी, सीधा व बड़ा प्रतिबिम्ब दिखाई देता है।सीधा, आभासी, छोटा प्रतिबिम्ब दिखाई देता है।
प्रश्न 3.
अपवर्तनांक किसे कहते हैं ?
उत्तर:
अपवर्तनांक-अपवर्तनांक दिये गये दो माध्यमों में प्रकाश के वेगों का अनुपात होता है। यह नियतांक है। तथा मात्रक रहित है।
प्रश्न 4.
वर्ण विक्षेपण किसे कहते हैं? इंद्रधनुष के रंगों को क्रम से लिखिए।
उत्तर:
वर्ण विक्षेपण-प्रिज्म में से श्वेत प्रकाश के गुजरने पर यह अपने मूल रंगों लाल, नारंगी, पीले, हरे, नीले, जामुनी व बैंगनी में विभाजित हो जाता है। इसे वर्ण विक्षेपण कहते हैं।
वर्षा की बूंदों में प्रकाश के अपवर्तन एवं आन्तरिक परावर्तन के कारण वर्ण विक्षेपण होता है, जिससे इन्द्रधनुष दिखाई देता है।
इन्द्रधनुष के क्रम से रंग-लाल, नारंगी, पीला, हरा, नीला, जामुनी, बैंगनी रंग।
प्रश्न 5.
मीना के दो सहपाठियों राघव को दूर की वस्तुएँ तथा मेघा को पास की वस्तुएँ स्पष्ट दिखाई नहीं देती हैं। उन्हें कौन-कौनसे दृष्टि दोष हैं? इनके निवारण के लिए उन्हें कौन-कौनसे लेंस से बने चश्मे प्रयुक्त करने पड़ेंगे?
उत्तर:
क्र.सं.नाम सहपाठीरोग के लक्षणलक्षण के आधार पर दृष्टिदोषनिवारण हेतु चश्मे में प्रयुक्त लेंस1राघवदूर की वस्तु स्पष्ट दिखाई नहीं देना।निकट दृष्टि-दोषअवतल लेंस से बना चश्मा2मेघापास की वस्तु स्पष्ट दिखाई नहीं देना।दूर दृष्ट्रि-दोषउत्तल लेंस से बना चश्मा
दीर्घ उत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
काँच की आयताकार सिल्ली द्वारा प्रकाश की किरण का अपवर्तन चित्र सहित समझाइए।
उत्तर:
काँच की आयताकार सिल्ली द्वारा प्रकाश की किरण का अपवर्तन-चित्रानुसार रेखा AB के अनुदिश वायु में चलती हुई प्रकाश किरण काँच की आयताकार सिल्ली के पृष्ठ से टकराकर काँच में प्रवेश करती है। बिन्दु O पर प्रकाश की किरण AB वायु (विरल माध्यम) से काँच (सघन माध्यम) में प्रवेश करने पर अभिलम्ब की ओर झुक जाती है। इसी प्रकार पृष्ठ SR के बिन्दु O’ पर जब प्रकाश किरण काँच (सघन माध्यम) से बाहर निकलकर वायु (विरल माध्यम) में जाती है तो यह अभिलम्ब से दूर हट जाती है। अतः हम कह सकते हैं कि
जब प्रकाश की किरण, विरल माध्यम से सघन माध्यम में प्रवेश करती है तो अभिलम्ब की ओर झुक जाती है।
जब प्रकाश की किरण, सघन माध्यम से विरल माध्यम में प्रवेश करती है तो यह अभिलम्ब से दूर हट जाती है। अतः जब प्रकाश की किरण एक माध्यम से दूसरे माध्यम में प्रवेश करती है तो यह अपने पथ से विचलित हो जाती है। इस घटना को प्रकाश का अपवर्तन कहते हैं।
प्रश्न 2.
किन प्रकाशीय उपकरणों में लेन्सों का उपयोग किया जाता है? इनका संक्षेप में वर्णन कीजिए।
उत्तर:
लेन्सों का उपयोग
दृष्टि दोष निवारण में-चश्मे में दोनों प्रकार के लेंसों का उपयोग होता है। जिन लोगों के निकट दृष्टिदोष होता है, ऐसे लोग अवतल लेंस लगे चश्मे का एवं जिनके दूरदृष्टि दोष होता है, ऐसे लोग उत्तल लेंस लगे चश्मे का उपयोग करते हैं।
सरल सूक्ष्मदर्शी-सरल सूक्ष्मदर्शी में कम फोकस दूरी के उत्तल लेंस का उपयोग किया जाता है। सरल सूक्ष्मदर्शी की सहायता से छोटी वस्तुओं को बड़ा करके देखा जाता है। इसका उपयोग घड़ीसाज, डॉक्टर आदि करते हैं।
संयुक्त सूक्ष्मदर्शी-इसमें दो उत्तल लेंस एक धातु की नली में लगे होते हैं। जिस ओर वस्तु को रखते हैं उसे अभिदृश्यक एवं जिस पर आँख को रखकर देखा जाता है, उसे नेत्रिका लेंस कहते हैं। इससे वस्तु को कई गुणा बड़ी करके देखा जा सकता है।
दूरबीन-दूरबीन का उपयोग दूर की वस्तुओं को देखने के लिए किया जाता है। इसमें भी दो उत्तल लेंस लगे होते हैं, जिन्हें अभिदृश्यक एवं नेत्रिका कहते हैं।
प्रश्न 3.
मानव नेत्र की संरचना एवं कार्यप्रणाली का संक्षिप्त वर्णन कीजिए।
उत्तर:
मानव नेत्र-हमारी आँख (नेत्र) में भी मांसपेशियों से बना लचीला उत्तल लेंस होता है। इसी लेंस के कारण वस्तुओं का रेटिना पर प्रतिबिम्ब बनता है। और वस्तुएँ दिखाई देती हैं।

संरचना–नेत्र की आकृति गोलाकार होती है। नेत्र का बाहरी आवरण सफेद होता है। इसके आगे के पारदर्शी भाग को कॉर्निया या स्वच्छ मण्डल कहते हैं। कॉर्निया के पीछे एक गहरे रंग की पेशियों की संरचना होती है, जिसे परितारिका या आइरिस कहते हैं। आइरिस में एक छोटा छिद्र होता है, जिसे पुतली कहते हैं। पुतली के आकार को परितारिका द्वारा नियंत्रित किया जाता है और यह आँख में प्रवेश करने वाले प्रकाश को भी नियंत्रित करती है। अधिक प्रकाश की उपस्थिति में पुतली को आकार छोटा व कम प्रकाश की उपस्थिति में बड़ा हो जाता है। पुतली के पीछे नेत्र लेंस स्थित होता है जो मांसपेशियों द्वारा अपनी स्थिति पर टिका रहता है। आँख में कॉर्निया और लेंस के बीच का भाग एक पारदर्शी द्रव पदार्थ से भरा होता है, जिसे नेत्रोद द्रव कहते हैं।
कार्यप्रणाली-लेंस से उल्टा प्रतिबिम्ब रेटिना पर बनता है। रेटिना प्रकाश सुग्राही पारदर्शी झिल्ली होती है जिस पर अनेक प्रकाश संवेदी तंत्रिकाएँ होती हैं। इनका सम्बन्ध मस्तिष्क से होता है। जब ये तंत्रिकाएँ रेटिना पर बने प्रतिबिम्ब के संकेतों को मस्तिष्क में भेजती हैं तो मस्तिष्क उसका प्रतिबिम्ब सीधा कर देता हैं और वस्तुएँ दिखाई देती हैं।
अन्य महत्त्वपूर्ण प्रश्न
वस्तुनिष्ठ प्रश्न
प्रश्न 1.
उत्तल लेंस से वस्तु के बराबर, उल्टा व वास्तविक प्रतिबिम्ब बनेगा, जब वस्तु को लेंस के मुख्य अक्ष के जिस बिन्दु पर रखा जाएगा, वह होगा
(अ) F’ पर
(ब) 2F’ पर
(स) F’ व 2F के मध्य
(द) अनन्त पर।
उत्तर:
(ब) 2F’ पर
प्रश्न 2.
लेंस के दोनों तलों के वक्रता केन्द्रों से गुजरने वाली रेखा को कहते हैं
(अ) मुख्य कक्ष
(ब) फोकस केन्द्र
(स) प्रकाश केन्द्र
(द) सभी
उत्तर:
(अ) मुख्य कक्ष
प्रश्न 3.
चश्मे में कौनसे लेंस का प्रयोग होता है?
(अ) अवतल लेंस
(ब) उत्तल लेंस
(स) दोनों प्रकार के लेंस
(द) इनमें से कोई नहीं
उत्तर:
(स) दोनों प्रकार के लेंस
प्रश्न 4.
जिन लोगों को निकट की वस्तु दिखाई नहीं देती हैं, उन्हें कौनसा दृष्टि दोष होता है?
(अ) निकट दृष्टिदोष
(ब) दूर दृष्टिदोष
(स) अ व ब दोनों
(द) दोनों नहीं
उत्तर:
(ब) दूर दृष्टिदोष
प्रश्न 5.
सरल सूक्ष्मदर्शी में कितने उत्तल लेंस लगे होते
(अ) एक
(ब) तीन
(स) दो
(द) चार
उत्तर:
(स) दो
प्रश्न 6.
संयुक्त सूक्ष्मदर्शी में जिस लेंस पर आँख को रखकर देखा जाता है, उस लेंस को क्या कहते हैं?
(अ) नेत्रिका
(ब) रेटिना
(स) कॉर्निया
(द) नेत्रोद
उत्तर:
(अ) नेत्रिका
प्रश्न 7.
एक प्रकाश किरण विरल माध्यम से सघन माध्यम में प्रवेश करती हैं। इसका सही प्रकाशीय पथ है
उत्तर:
(अ)
रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए
प्रश्न 1.
ऐसा लेंस जो किनारों पर मोटा एवं बीच में पतला है_____ लेंस कहलाता है। (अवतल/उत्तल)
उत्तर:
अवतल
प्रश्न 2.
दूरबीन में दो____ लेंस लगे होते हैं। (उत्तल/अवतल)
उत्तर:
उत्तल
प्रश्न 3.
नेत्र की आकृति_____ होती है। (गोलाकार/वर्गाकार)
उत्तर:
गोलाकार
प्रश्न 4.
पुतली के पीछे_____ स्थित होता है। (अवतल लेंस/नेत्र लेंस)
उत्तर:
नेत्र लेंस
प्रश्न 5.
सूर्य का प्रकाश____ रंगों से मिलकर बना होता है। (सात/आठ)
उत्तर:
सात।
बताइए निम्नलिखित कथन सत्य हैं या असत्य
1. सघन माध्यम में प्रकाश की चाल विरल माध्यमकी तुलना में कम होती है।
2. अपवर्तनांक दिये गये दो माध्यमों में प्रकाश केवेगों का अन्तर होता है।
3. किनारों पर मोटे व बीच में से पतले लेंस को उत्तल लेंस कहते हैं।
4. सूर्य का प्रकाश सात रंगों से मिलकर बना है, जिससे यह श्वेत दिखाई देता है।
उत्तर:
1. सत्य
2. असत्य
3. असत्य
4. सत्य।
सही मिलान कीजिए
प्रश्न 1.
निम्नांकित का सही मिलान कीजिए
कॉलम ‘A’कॉलम ‘B’1. अभिसारी लेंस(A) नेत्रोद2. अपसारी लेंस(B) उत्तल लेंस3. सात रंग की पट्टियों का समूह(C) अवतल लेंस4. आइरिस में छोटा छिद्र(D) स्पेक्ट्रम5. कॉर्निया व लेंस के बीच द्रव पदार्थ(E) पुतली
उत्तर:
1. (B)
2. (C)
3. (D)
4. (E)
5. (A)
अतिलघूत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
लेंस कितने प्रकार के होते हैं? नाम लिखिए।
उत्तर:
लेंस दो प्रकार के होते हैं-
उत्तल (अभिसारी) लेंस
अवतल (अपसारी) लेंस)।
प्रश्न 2.
उत्तल (अभिसारी) लेंस किसे कहते हैं?
अथवा
उत्तल लेंस कैसा होता है?
उत्तर:
उत्तल लेंस किनारों पर पतला एवं बीच में मोटा होता है। यह समान्तर आने वाली प्रकाश किरणों को अभिकेन्द्रित कर देता है इसलिए इसे अभिसारी लेंस भी कहते हैं।
प्रश्न 3.
अवतल (अपसारी) लेंस किसे कहते हैं ?
अथवा
अवतल लेंस कैसा होता है?
उत्तर:
अवतल लेंस किनारों पर मोटा एवं बीच में पतला होता है। यह लेंस समान्तर आने वाली प्रकाश किरणों को फैला देता है, इसलिए इसे अपसारी लेंस भी कहते हैं।
प्रश्न 4.
उत्तल लेंस से सूर्य के प्रकाश को अपने शरीर के किसी भाग पर केन्द्रित क्यों नहीं करना चाहिए?
उत्तर:
क्योंकि प्रकाश किरणों के एक स्थान पर एकत्र होने से त्वचा जल सकती है।
प्रश्न 5.
मुख्य अक्ष किसे कहते हैं ?
उत्तर:
लेंस के दोनों तलों के वक्रता केन्द्रों से गुजरने वाली रेखा को मुख्य अक्ष कहते हैं।
प्रश्न 6.
प्रकाश केन्द्र किसे कहते हैं?
उत्तर:
लेंस के अन्दर मुख्य अक्ष पर स्थित वह बिन्दु जिससे गुजरने वाली प्रकाश किरण बिना विचलन के सीधी निकल जाती है, प्रकाश केन्द्र O कहलाता है।
प्रश्न 7.
अवतल लेंस से पर्दे पर कैसा प्रतिबिम्ब बनता
उत्तर:
अवतल लेंस से पर्दे पर प्रतिबिम्ब नहीं बनता है।
प्रश्न 8.
चश्मे में किस प्रकार के लेंस का प्रयोग होता
उत्तर:
चश्मे में दोनों प्रकार के लेंस-उत्तल व अवतल का प्रयोग आवश्यकतानुसार होता है।
प्रश्न 9.
निकट दृष्टिदोष क्या होता है? इसके निवारण हेतु कौनसे लेंस का प्रयोग करते हैं ?
उत्तर:
जिन लोगों को दूर की वस्तु स्पष्ट नहीं दिखती घह निकट दृष्टि दोष होता है। इसके निवारण हेतु अवतल लेंस लगे चश्मे का प्रयोग करते हैं।
प्रश्न 10.
दूरदृष्टि दोष क्या होता है। इसके निवारण हेतु कौनसे लेंस का प्रयोग करते हैं?
उत्तर:
जिन लोगों को पास की वस्तु स्पष्ट नहीं दिखती वह दूरदृष्टि दोष होता है। इसके निवारण हेतु उत्तल लेंस लगे चश्मे का प्रयोग करते हैं।
प्रश्न 11.
घड़ीसाज घड़ी सुधारने में कौनसे लेंस का प्रयोग करते हैं?
उत्तर:
घड़ीसाज घड़ी सुधारने में उत्तल लेंस लगे आवर्धक लेंस का उपयोग वस्तु को बड़ा करके देखने के लिए करते हैं।
प्रश्न 12.
सरल सूक्ष्मदर्शी में कौनसा व कितने लेंस लगे होते हैं व इसका क्या उपयोग है?
उत्तर:
सरल सूक्ष्मदर्शी में एक उत्तल लेंस लगा होता है। जो कि कम फोकस दूरी का होता है। यह वस्तु को बड़ी करके देखने के काम आता है।
प्रश्न 13.
संयुक्त सूक्ष्मदर्शी में कितने एवं कौनसे लेंस प्रयुक्त होते हैं ?
उत्तर:
संयुक्त सूक्ष्मदर्शी में दो उत्तल लेंस एक धातु की नली में लगे होते हैं।
प्रश्न 14.
अभिदृश्यक किसे कहते हैं?
उत्तर:
संयुक्त सूक्ष्मदर्शी या दूरबीन में जिस ओर वस्तु होती है उस ओर स्थित लेंस को अभिदृश्यक कहते हैं।
प्रश्न 15.
नेत्रिका किसे कहते हैं?
उत्तर:
संयुक्त सूक्ष्मदर्शी या दूरबीन में जिस लेंस पर आँख को रखकर देखा जाता है, उसे नेत्रिका कहते हैं।
प्रश्न 16.
दूरबीन का उपयोग बताइए।
उत्तर:
दूरबीन का उपयोग दूर की वस्तुओं को स्पष्ट देखने के लिए किया जाता है।
प्रश्न 17.
नेत्रोद किसे कहते हैं?
उत्तर:
आँख में कॉर्निया और लेंस के बीच का भाग एक पारदर्शी द्रव पदार्थ से भरा होता है, जिसे नेत्रोद कहते हैं।
प्रश्न 18.
काचाभ द्रव क्या हैं?
उत्तर:
आँख में लेंस और रेटिना के मध्य पारदर्शी द्रव भरा रहता है, जिसे काचाभ द्रव कहते हैं।
प्रश्न 19.
वर्ण विक्षेपण से क्या अभिप्राय है?
उत्तर:
सूर्य के श्वेत प्रकाश का अपने मूल रंगों में। विभाजित होने वाली घटना को वर्ण विक्षेपण कहते हैं। जैसे–इन्द्रधनुष
प्रश्न 20.
इन्द्रधनुष क्या है?
उत्तर:
वर्षा की बूंदों में प्रकाश के अपवर्तन एवं आन्तरिक परावर्तन के कारण वर्ण विक्षेपण होता है एवं सात रंगों की धनुषाकार पट्टियों का समूह दिखाई देता है, जिसे इन्द्रधनुष कहते हैं।
प्रश्न 21.
प्रिज्म में से गुजरने पर लाल रंग कम और बैंगनी रंग अधिक विचलित क्यों होता है?
उत्तर:
लाल रंग की चाल अधिक होने से यह कम और बैंगनी रंग की चाल कम होने से यह प्रिज्म से गुजरने के बाद अधिक विचलित होता है।
लघूत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
पूजा को दूर की वस्तुएँ स्पष्ट दिखाई नहीं देती हैं। उसे कौनसा दृष्टि दोष है तथा इसके निवारण के लिए कौनसे लेंस से बना चश्मा प्रयुक्त करना पड़ेगा?
उत्तर:
यदि किसी को दूर की वस्तुएँ स्पष्ट नहीं दिखाई देती हैं तो उस व्यक्ति को निकट दृष्टिदोष होता है अतः पूजा को आँखों का निकट दृष्टिदोष है। पूजा को अपनी आँखों के इस निकट दृष्टिदोष के निवारण हेतु अवतल लेंस से बने चश्मे का प्रयोग करना पड़ेगा।
प्रश्न 2.
अपवर्तन किसे कहते हैं? पानी से भरे बीकर में सिक्का ऊपर उठा हुआ क्यों दिखाई देता है? चित्र सहित समझाइए।
उत्तर:
अपवर्तन-जब प्रकाश की किरण एक माध्यम से दूसरे माध्यम में प्रवेश करती है तो यह अपने पथ से विचलित हो जाती है। इस घटना को प्रकाश का अपवर्तन कहते हैं।
पानी से भरे बीकर में सिक्का ऊपर उठा हुआ दिखाई देना-चित्रानुसार हम एक बीकर में एक सिक्का डालेंगे। अब इसे देखेंगे। यह हमें यथास्थान नजर आता है। अब इस बीकर में पानी भर देंगे। ध्यान रहे कि सिक्का अपने स्थान से न हिले अब सिक्के को देखने पर हमें यह ऊपर उठा हुआ दिखाई देता है। ऐसा प्रकाश के अपवर्तन के कारण होता हैं। चित्र के अनुसार सिक्के से चलने वाली प्रकाश की किरण जब पानी (सघन माध्यम) से वायु (विरल माध्यम) में जाती है तो पानी के पृष्ठ पर अभिलम्ब से दूर हो जाती है और जब यह अपवर्तित प्रकाश की किरण हमारी आँख तक पहुँचती है तो सिक्का ऊपर उठा हुआ दिखाई देता है।
प्रश्न 3.
दैनिक जीवन में अपवर्तन के कारण कई घटनाएँ और प्रभाव दृष्टिगोचर होते हैं। उनके नाम बताइए।
उत्तर:
दैनिक जीवन में अपवर्तन के कारण कई घटनाएँ और प्रभाव दृष्टिगोचर होते हैं, जिनमें कुछ निम्नलिखित
पानी से भरे पात्र का पैंदा ऊपर उठा हुआ दिखाई देना।
तारे टिमटिमाते हुए प्रतीत होना।
पानी में रखी पेन्सिल का टेढा दिखाई देना।
सूर्योदय के पहले एवं सूर्यास्त के पश्चात् सूर्य का दिखाई देना।
प्रश्न 4.
हमें रात्रि के समय तारे टिमटिमाते हुए क्यों प्रतीत होते हैं?
उत्तर:
वायुमण्डल की परतों का घनत्व भिन्न-भिन्न होने से उनका अपवर्तनांक भी भिन्न-भिन्न होता है, जिससे तारों से आने वाला प्रकाश वायुमण्डल की विभिन्न परतों से गुजरने के कारण अपने पथ से विचलित होता रहता है, इसी कारण तारे टिमटिमाते हुए नजर आते हैं।
प्रश्न 5.
पानी में रखी पेन्सिल टेढ़ी क्यों नजर आती है ? चित्र सहित बताइए।
उत्तर:
पानी में रखी पेन्सिल वायु तथा पानी के अन्तरापृष्ठ पर (पानी की ऊपरी सतह) टेढ़ी प्रतीत होती है। ऐसा प्रकाश के अपवर्तन के कारण होता है। पेन्सिल के डूबे भाग से चलने वाली प्रकाश किरणें जब पानी से बाहर आते समय अभिलम्ब से दूर हटती हैं तो पानी में रखी पेन्सिल टेढी दिखाई देती है।
चित्र-पानी में रखी पेंसिल का टेढ़ा दिखाई देना
प्रश्न 6.
दूर दृष्टि से पीड़ित व्यक्ति के चश्मे में उत्तल लेंस को उपयोग करते हैं। किन्हीं चार प्रकाशीय उपकरणों के नाम लिखिए जिनमें उत्तल लेंस का उपयोग करते हैं।
उत्तर:
चार प्रकाशीय उपकरण जिनमें उत्तल लेंस का उपयोग करते हैं
सरल सूक्ष्मदर्शी
संयुक्त सूक्ष्मदर्शी
दूरदर्शी
सोलर कुकर।
प्रश्न 7.
लेंस किसे कहते हैं? ये कितने प्रकार के होते हैं? लेंसों के चित्र भी बनाइए।
उत्तर:
लेंस-दो वक्र पृष्ठों से घिरा हुआ पारदर्शक माध्यम लेंस कहलाता है। ये पारदर्शी पदार्थों से बने होते हैं।
लेंसों के प्रकार-लेंस मुख्य रूप से दो प्रकार के होते हैं
उत्तल (अभिसारी) लेंस-यह किनारों पर पतला एवं बीच में मोटा होता है।
अवतल (अपसारी) लेंस-यह किनारों पर मोटा एवं बीच में से पतला होता है।
प्रश्न 8.
उत्तल लेंस एवं अवतल लेंस के फोकस बिन्दु के बारे में बताइए।
उत्तर:
उत्तल लेंस का फोकस बिन्दु-मुख्य अक्ष के समान्तर आने वाली प्रकाश किरणें उत्तल लेंस से अपवर्तन के बाद मुख्य अक्ष के जिस बिन्दु पर एकत्रित होती हैं, उसे उत्तल लेंस का फोकस बिन्दु (F) कहते
अवतल लेंस का फोकस बिन्दु-मुख्य अक्ष के समान्तर आने वाली प्रकाश किरणें अवतल लेंस से अपवर्तन के बाद मुख्य अक्ष के जिस बिन्दु से अपसारित होती हैं, उस बिन्दु को अवतल लेंस का फोकस बिन्दु (f) कहते हैं।
प्रश्न 9.
मानव नेत्र का नामांकित चित्र बनाइए
उत्तर:
प्रश्न 10.
अवतल लेंस से प्रतिबिम्ब निर्माण को समझाइए।
उत्तर:
अवतल लेंस से पर्दे पर प्रतिबिम्ब नहीं बनता है। इससे सदैव सीधा, आभासी एवं छोटा प्रतिबिम्ब प्राप्त होता है, जिसे अवतल लेंस के सामने आँखों को रखकर देखा जा सकता है।
प्रश्न 11.
डॉ. सी.वी. रमन के बारे में जानकारी प्रदान कीजिए।
उत्तर:
डॉ. सी.वी. रमन प्रसिद्ध भारतीय भौतिक शास्त्री थे। प्रकाश के प्रकीर्णन पर उत्कृष्ट कार्य के लिए वर्ष 11930 में इन्हें भौतिकी का प्रतिष्ठित नोबेल पुरस्कार दिया। गया। वर्ष 1954 में इन्हें ‘भारत रत्न’ से विभूषित किया गया एवं 1957 में ‘लेनिन शान्ति पुरस्कार’ प्रदान किया गया।
28 फरवरी, 1926 को आपने ‘रमन प्रभाव’ की खोज की थी। इस दिन को प्रत्येक वर्ष राष्ट्रीय विज्ञान दिवस के रूप में मनाया जाता है।
निबन्धात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
अपवर्तन पर आधारित निम्न घटनाओं की सचित्र व्याख्या कीजिए
(i) पानी से भरे हुए पात्र का पैंदा ऊपर उठा हुआ दिखाई देना।
(ii) सूर्योदय से पहले एवं सूर्यास्त के पश्चात् सूर्य का दिखाई देना।
उत्तर:
(i) पानी से भरे हुए पात्र का पैंदा ऊपर उठा हुआ दिखाई देना-काँच या प्लास्टिक का एक पात्र लीजिए। इसके तल में एक सिक्का रख दीजिए। इस पात्र में रखे सिक्के को देखते हुए अब आप धीरे-धीरे तब तक पात्र से दूर जाइए, जब तक कि सिक्का दिखाई देना बन्द नहीं हो जाये। अब अपने मित्र को पात्र में धीरे-धीरे सावधानीपूर्वक पानी डालने को कहिए। ध्यान रहे कि सिक्का अपने स्थान से नहीं हिले। आप देखते हैं कि सिक्का पुनः दिखाई देने लग गया।
आपने अपनी स्थिति परिवर्तित नहीं की फिर भी सिक्का दिखाई देने लगा। यह प्रकाश के अपवर्तन के कारण होता है। सिक्के से चलने वाली प्रकाश की किरण जब पानी (सघन माध्यम) से वायु (विरल माध्यम) में जाती है तो पानी के पृष्ठ पर अभिलम्ब से दूर हो जाती है और यह अपवर्तित प्रकाश की किरण हमारी आँख तक पहुँचती है। तो सिक्का ऊपर उठा हुआ दिखाई देता है। इसी प्रकार पानी से भरे किसी पात्र, तालाब, तरणताल या कुएं का पँदा ऊपर उठा हुआ प्रतीत होता है।
(ii) सूर्योदय से पहले एवं सूर्यास्त के पश्चात् सूर्य का दिखाई देना-प्रातः सूर्योदय के समय सूर्य से आने वाली प्रकाश की किरणें वायुमण्डल की विभिन्न परतों से अपवर्तित होकर हमारी आँख तक पहुँचती हैं, जिससे प्रकाश की किरण के आने की सीध में सूर्य ऊपर उठा दिखाई देता है। इस कारण वास्तविक सूर्योदय के लगभग 2 मिनट पूर्व सूर्य दिखाई देने लगता है। इसी प्रकार सूर्यास्त के समय लगभग 2 मिनट बाद तक सूर्य दिखाई देता है। इस प्रकार दिन की लम्बाई लगभग 4 मिनट बढ़ जाती है।
प्रश्न 2.
लेंस किसे कहते हैं? लेंस के प्रकारों का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
लेंस-दो वक्र पृष्ठों से घिरा हुआ पारदर्शक माध्यम लेंस कहलाता है। लेंसों के प्रकार-मुख्य रूप से लेंस दो प्रकार के होते हैं
उत्तल लेंस
 अवतल लेंस।
1. उत्तल लेंस (Convex Lens)-उत्तल लेंस किनारों पर पतला एवं बीच में मोटा होता है। उत्तल लेंस समान्तर आने वाली प्रकाश किरणों को अपवर्तन के पश्चात् अभिकेन्द्रित कर देता है अतः इसे अभिसारी लेंस भी कहते हैं।
मुख्य अक्ष के समान्तर आने वाली प्रकाश किरणें उत्तल लेंस से अपवर्तन के बाद मुख्य अक्ष के जिस बिन्दु पर एकत्रित होती हैं, उसे उत्तल लेंस का फोकस बिन्दु कहते हैं। इसमें प्रतिबिम्ब सीधा, आभासी व बड़ा होता है।

2. अवतल लेंस (Concave Lens)-ऐसा लेंस जो किनारों पर मोटा व बीच में पतला हो, अवतल लेंस कहलाता है। यह लेंस समान्तर आने वाली प्रकाश किरणों को फैला देता है या अपसारित कर देता है। इस कारण इस लेंस को अपसारी लेंस भी कहते हैं। मुख्य अक्ष के समान्तर आने वाली प्रकाश किरणें अवतल लेंस से अपवर्तन के बाद मुख्य अक्ष के जिस बिन्दु से अपसारित होती हैं, उसे अवतल लेंस का फोकस बिन्दु कहते हैं। इसमें प्रतिबिम्ब आभासी, सीधा, छोटा बनता है।
प्रश्न 3.
स्पष्ट कीजिये कि अनन्त पर स्थित वस्तु का उत्तल लेंस से वास्तविक, उल्टा एवं अत्यन्त छोटा प्रतिबिम्ब फोकस बिन्दु पर बनता है।
उत्तर:
प्रयोग-एक उत्तल लेंस तथा एक कागज लीजिए। सूर्य के प्रकाश को उत्तल लेंस से गुजरकर कागज पर इस प्रकार डालिये कि वह एक बिन्दु पर केन्द्रित हो जाये। तब तक रुकिये जब तक कागज जलने नहीं लग जाये । हम देखते हैं कि उत्तल लेंस सूर्य से आने वाली समान्तर किरणों को कागज के एक बिन्दु पर केन्द्रित करता हैं। इस बिन्दु को लेंस का फोकस बिन्दु कहते हैं। यह बिन्दु सूर्य का अत्यन्त छोटे आकार का प्रतिबिम्ब है। चूंकि यह प्रतिबिम्ब पर्दे पर लिया जा सकता है, अतः यह वास्तविक प्रतिबिम्ब है। वास्तविक प्रतिबिम्ब सदैव उल्टे होते हैं।
इस प्रकार स्पष्ट है कि वस्तु अनन्त पर स्थित होने पर उत्तल लेंस से उसका वास्तविक, उल्टा एवं अत्यन्त छोटा प्रतिबिम्ब फोकस बिन्दु पर बनता है।
प्रश्न 4.
वस्तु की स्थितियों के अनुसार उत्तल लेंस से पर्दे पर वस्तु के प्रतिबिम्ब निर्माण को प्रतिबिम्ब की स्थिति, आकार, प्रकृति के बारे में बताइए।
(वस्तु की स्थितियाँ-
(i) अनन्त पर
(ii) 2F’ से थोड़ीदूर
(iii) 2F’ पर
(iv) F’ तथा 2F’ के बीच
(v) F’ पर
(vi) लेंस और F’ के बीच
उत्तर:
उत्तल लेंस से प्रतिबिम्ब निर्माण
क्र.सं.बिम्ब (वस्तु) की स्थितिप्रतिबिम्ब की स्थितिप्रतिबिम्ब का आकारप्रतिबिम्ब की प्रकृति1अनन्त परF परअत्यन्त छोय व उल्टावास्तविक22F’ से थोड़ीF तथा 2F के बीचछोटा व उल्टावास्तविक32F’ पर2F परबराबर व उल्टावास्तविक4F’ तथा 2F’ के बीच2F से परे बड़ा व उल्टावास्तविक5F’ परअनन्ते परअत्यन्त बड़ा व उल्टावास्तविक6लेंस और F’ के बीचअनन्त व लेंस के बीचबड़ा व सीधाआभासी
प्रश्न 5.
प्रिज्म द्वारा प्रकाश की किरण का विक्षेपण चित्र द्वारा समझाइए।
अथवा
सूर्य का प्रकाश सात रंगों से मिलकर बना है, जिससे यह श्वेत दिखाई देता है। आप इससे सहमत हैं ? प्रिज्म से श्वेत प्रकाश के गुजरने की घटना के आधार पर स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
प्रिज्म द्वारा प्रकाश की किरण का विक्षेपणएक प्रिज्म को सूर्य के प्रकाश में ले जाकर प्रिज्म के एक पृष्ठ को सूर्य के सामने रखिए और इसे थोड़ा सा घुमाकर प्रिज्म में से गुजरने वाले प्रकाश को छायायुक्त दीवार पर गिराइए और देखिए कि दीवार पर सात रंगों की पट्टियों का समूह दिखाई देता है, जिसे प्रकाश का स्पेक्ट्रम कहते हैं। सूर्य का प्रकाश सात रंगों से मिलकर बना है, जिससे यह श्वेत दिखाई देता है। प्रिज्म में से श्वेत सूर्य प्रकाश के गुजरने पर यह अपने मूल रंगों लाल, नारंगी, पीले, हरे, नीले, जामुनी व बैंगनी में विभाजित हो जाता है। इसे वर्ण विक्षेपण कहते हैं।

Admin

सभी महत्वपूर्ण जानकारी एक ही झटके में एकत्र नहीं किया जा सकता है इसलिए आप सभी को थोड़ा थोड़ा करके इस वेबसाइट में उपलब्ध करवाया जायेगा कृपया इस वेबसाइट को अधिक से अधिक छात्रों तक भेजिए

NCERT + CGBSE Class 8,9,10,11,12 Notes in Hindi with Questions and Answers By Bhushan Sahu - ULTIMATE STUDY SUPPORT

कोई भी प्रश्न या आवश्यक नोट्स एवं सभी प्रकार के जानकारी प्राप्त करने हेतु आप टिप्पणी {COMMENT} कर सकते हैं। 👇🏻👇🏻👇🏻✅✅🌍🌍😎

एक टिप्पणी भेजें (0)
और नया पुराने